चाँद पे जाने वालों ,जाना बाद में, पहले धरती पे तो रहना सीख लो। टूमओर (टूमर्स )की शुरुआत तब होती है जब तंदरुस्त सेल्स (स्वस्थ कोशिकाओ...
चाँद पे जाने वालों ,जाना बाद में,
पहले धरती पे तो रहना सीख लो।
टूमओर (टूमर्स )की शुरुआत तब होती है जब तंदरुस्त सेल्स (स्वस्थ कोशिकाओं )का डीएनए ( डीआक्सी -राइबो -नुक्लिएक एसिड ,बुनयादी खानदानी पदार्थ )विनष्ट हो जाता है। क्षतिग्रस्त हो जाता है। ऐसे में कोशिकाओं में बड़ा बदलाव यह देखा जाता है वह मरना भूलकर एक तरह से अमर हो जाती है अनियंत्रत तौर पर कुनबा परसती करने लगती है। बस एक गाँठ कोशिकाओं के इस ढेर से बन जाती है यही है संक्रामक ट्यूमर। फ़िज़ूल की बात है यह कहना के ट्यूमर बिनाइन यानी निरापद भी हो सकता है संक्राम्य है स्वभाव में। पूत के पाँव पालने में ही दिख जाते हैं।
लिमपोमा और लिम्फोमा में ज़मीन आसमान का फर्क है। एक फेटसेल्स का जमावड़ा है दूसरा संक्रामक कैंसर कोशिकाओं का। लिमपोमा गाँठ वहीँ बनी रहती है लिम्फोमा अपना स्थान भी बदल सकता है वास्तव में पूरे शरीर का रोग है कैंसर -समूह का रोग।अलबत्ता शुरूआती चरण में इस बढ़वार को थाम लिया जाता है बशर्ते शिनाख्त हो जाए इस आरम्भिक चरण में ही। और इलाज़ भी मयस्सर हो जाए।
लिमपोमा को कभी भी काट के फेंक दिया जा सकता है कोई खतरा नहीं है इसे शल्य से हटवाने में कोई पेचीलापन भी नहीं है।
'न्यूरो' एक 'प्रीफिक्स' है ,उपसर्ग है जिसका चिकित्सा विज्ञान के अंतर्गत अर्थ नर्व्ज़ से संबंधित ,नर्वस सिस्टम से सम्बंधित या नर्व्ज़ के समूह से संबंधित यानी नर्व -टिशु
एंडोक्रॉनोलॉजी स्रावी विज्ञान है तमाम ग्रंथियों से होने वाले स्रावों ,हारमोनो का अध्ययन है मास्टर ग्लेंड (पिट्यूटरी ग्लेंड )यानी पीयूष ग्रंथि से लेकर पी -नाइल ग्लेंड या पेनक्रियेटिक ग्लेंड (अग्नाश्य ग्रंथि ) थाइरोइड ,थॉमस ,हाइपो -थैलेमस(बॉडी का थर्मोस्टेट है ) ,स्वेट -ग्लेंड्स (स्वेद या पसीना तैयार करतीं हैं ),सैलाईवरी ग्लेंड्स (लार बनाती हैं )आदिक तक। लसिका ग्रंथियां सबसे ज्यादा हैं। कृपया नीचे दिया लिंक देखिये :
http://www.biologydiscussion.com/hindi/essay-hindi/essay-on-endocrine-glands-hindi-human-body-biology/79829
शरीर के स्रावी तंत्र (एंडोक्राइन सिस्टम )की विशिष्ठ कोशिकाओं से शुरुआत होती है : एंडोक्राइन ट्यूमर्स की। इनमें हारमोन सेल्स भी रहतीं हैं न्यूरल भी (न्यूरॉन्स ). नर्वस सिस्टम या फिर दिमाग की एकल कोशिका को ही न्यूरॉन कहते हैं। न्यूरॉन टु न्यूरॉन कम्युनिकेशन ही होता है हमारे शरीर में। मोटर न्यूरॉन्स और या सेंसरी न्यूरॉन्स या और इंटरनेयूरों अपना -अपना काम करते हैं अंग संचालन के लिए उत्तरदाई रहते हैं। दिमाग हमारा एक सशक्त टेलीफोन एक्सचेंज है जो चमड़ी से संवेदन लेता है दिमाग को देता है और सेंसरी न्यूरॉन्स से अंग संचालन का आदेश दिमाग पारित करवाता है। टू वे ट्रेफिक है यहां।
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A tumor begins when the DNA of healthy cells is damaged, causing the cells to change and grow out of control, forming a mass. A tumor can be cancerous or benign. A cancerous tumor is malignant, meaning it can grow and spread to other parts of the body if it is not found early and treated. A benign tumor means the tumor can grow but will not spread. A benign tumor usually can be removed without it causing much harm.
About neuroendocrine tumors
NETs can begin in any part of the body, including the:
- Lung. The lung is the second most common location of NETs. About 30% of NETs occur in the bronchial system, which carries air to the lungs. Lung NETs used to be called carcinoid tumors. Learn more about NET of the lung.
- Gastrointestinal (GI) tract. NETs develop most commonly in the GI tract, specifically in the small intestine (19%), appendix (4%), and large intestine (20%). The GI tract plays a central role in digesting foods and liquid and in processing waste. GI tract NETs also used to be called carcinoid tumors.
Pancreas. Approximately 7% of NETs can develop in the pancreas, a pear-shaped gland located in the abdomen between the stomach and the spine. Pancreas NETs used to be called islet cell tumors.
NETs can also begin in other organs. In about 15% of cases, a primary site cannot be found. Sometimes, NETs may develop in or on the adrenal glands. These rare types of NETs are called pheochromocytoma and paraganglioma, and they are discussed in another section of this website. Other types of tumors that begin in hormone-producing cells are also described in their own sections on Cancer.Net, including thyroid cancer, adrenal gland tumors, and pituitary gland tumors.
Classification of NETs
NETs may be classified, or described, in many different ways, including by where they are located, what the tumor cells look like under a microscope, and how fast the cells are growing and dividing (see Stages and Grades sections of this guide). In addition, NETs are described as “functional” or “non-functional.” Functional NETs make and release hormones and other substances that cause symptoms. Carcinoid syndrome is 1 sign of a “functional” NET in which a substance called serotonin is released that can cause diarrhea and facial flushing (see Symptoms and Signs). Non-functional NETs either do not release substances or do not release enough substances to cause symptoms. About 60% of NETs are non-functional. Because of a lack of symptoms, NETs are usually diagnosed (see Diagnosis) at a more advanced stage.
The next section in this guide is Statistics. It helps explain the number of people who are diagnosed with a NET and general survival rates. Use the menu to choose a different section to read in this guide.
सन्दर्भ -सामिग्री :
https://www.cancer.net/cancer-types/neuroendocrine-tumors/introduction
विशेष :इस श्रृंखला की पोस्ट हमारे अज़ीमतर इरफ़ान -खान साहब के लिए हैं। जिनकी ख्याति हॉलीवुड से बॉलीवुड तक रही है मांग भी। आज कोरोना महामारी के इस दौर में जबकि हमारी संवेदनाएं सांझा है इरफ़ान साहब का एंडोक्राइन कैंसर वॉरिअर से लड़ते -लड़ते यूँ चले जाना हमारी संवेदनाओं को प्रगाढ़तर बना रहा है। जबकि वह ये जंग जीत चुके थे ,उनके बेहतरीन कर्तव्य निष्ठ परिवार के साथ आज पूरा देश प्रार्थना और प्रणाम की मुद्रा में झुक गया है। पुर सुकून रहे उनकी रूह।
https://www.youtube.com/watch?v=NPXZVo-_qpM
https://www.theguardian.com/film/gallery/2020/apr/29/irrfan-khan-a-life-in-pictures
https://www.cancer.net/cancer-types/neuroendocrine-tumors/introduction
विशेष :इस श्रृंखला की पोस्ट हमारे अज़ीमतर इरफ़ान -खान साहब के लिए हैं। जिनकी ख्याति हॉलीवुड से बॉलीवुड तक रही है मांग भी। आज कोरोना महामारी के इस दौर में जबकि हमारी संवेदनाएं सांझा है इरफ़ान साहब का एंडोक्राइन कैंसर वॉरिअर से लड़ते -लड़ते यूँ चले जाना हमारी संवेदनाओं को प्रगाढ़तर बना रहा है। जबकि वह ये जंग जीत चुके थे ,उनके बेहतरीन कर्तव्य निष्ठ परिवार के साथ आज पूरा देश प्रार्थना और प्रणाम की मुद्रा में झुक गया है। पुर सुकून रहे उनकी रूह।
https://www.youtube.com/watch?v=NPXZVo-_qpM
https://www.theguardian.com/film/gallery/2020/apr/29/irrfan-khan-a-life-in-pictures
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